अदालत में रेंट कंट्रोल एक्ट के प्रावधानों पर बात चल रही थी। इसके बाद जज की तरफ से ऐसा बयान आ गया और बाद में मामला ड्राइवर के इंश्योरेंस तक पहुंच गया। जस्टिस श्रीशानंद का कहना है कि लेन यातायात जैसे मुद्दों को मोटर व्हीकल एक्ट में शामिल किया जाना चाहिए।